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Vajubhai Vala Biography in Hindi | वजुभाई वाला जीवन परिचय

वजुभाई वाला

जीवन परिचय
वास्तविक नाम वजुभाई रुदाभाई वाला
व्यवसाय भारतीय राजनेता
लोकप्रियता वर्ष 2014 से 2019 तक कर्नाटक के राज्यपाल होने के नाते
राजनीतिक पार्टी भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) के पूर्व सदस्य
राजनीतिक यात्रा • वर्ष 1975 से वर्ष 1993 तक, वह राजकोट की नगरपालिका के सद्स्य रहे।
• वर्ष 1983 से वर्ष 1988 तक, वह राजकोट नगर निगम के मेयर रहे।
• वर्ष 1985 से वर्ष 2012 तक, वह राजकोट विधान सभा के सदस्य रहे।
• वर्ष 1991 से वर्ष 1993 तक, वह राजकोट नगर निगम के महापौर रहे।
• वर्ष 1990 में, उन्हें गुजरात के शहरी विकास और आवास मंत्री के रूप में नियुक्त किया गया।
• वर्ष 1995 में, उन्हें गुजरात के तेल आपूर्ति मंत्रालय और कॉर्पोरेट मंत्रालय का मंत्री नियुक्त किया गया।
• वर्ष 1995 से वर्ष 1996 तक, वह गुजरात के वित्त और ऊर्जा मंत्री रहे।
• वर्ष 1998 से वर्ष 1999 तक, वह गुजरात के वित्त, राजस्व और तेल मंत्रालय के मंत्री रहे।
• वर्ष 1999 से वर्ष 2001 तक, वह गुजरात के वित्त, राजस्व मंत्री रहे।
• वर्ष 2002 से वर्ष 2007 तक, वह गुजरात के वित्त मंत्री रहे।
• वर्ष 2005 से वर्ष 2006 तक, वह गुजरात की भारतीय जनता पार्टी के अध्यक्ष रहे।
• वर्ष 2008 से वर्ष 2012 तक, वह गुजरात के वित्त, श्रम और रोजगार, परिवहन मंत्री रहे।
• वर्ष 2012 से वर्ष 2013 तक, वह गुजरात विधानसभा के अध्यक्ष रहे।
• वर्ष 2013 में, उन्हें गुजरात विधानसभा के अध्यक्ष के रूप में नियुक्त किया गया।
• वर्ष 1996 से वर्ष 1998 तक, वह गुजरात की भारतीय जनता पार्टी के अध्यक्ष रहे।
• वर्ष 2014 से वर्ष 2019 तक, उन्हें कर्नाटक के राज्यपाल के रूप में नियुक्त किया गया।
वजुभाई वाला राज्यपाल के रूप में शपथ ग्रहण करते हुए
शारीरिक संरचना
लम्बाई से० मी०- 173
मी०- 1.73
फीट इन्च- 5’ 8”
वजन/भार (लगभग)80 कि० ग्रा०
आँखों का रंग काला
बालों का रंग सफ़ेद
व्यक्तिगत जीवन
जन्मतिथि 23 जनवरी 1937
आयु (2018 के अनुसार)81 वर्ष
जन्मस्थान राजकोट, गुजरात, भारत
राशि कुंभ
हस्ताक्षर वजुभाई वाला के हस्ताक्षर
राष्ट्रीयता भारतीय
गृहनगर गांधीनगर, गुजरात, भारत
स्कूल/विद्यालय ज्ञात नहीं
महाविद्यालय/विश्वविद्यालयधर्मेंद्रसिंहजी कला कॉलेज, राजकोट
शैक्षिक योग्यता विज्ञान में स्नातक
एलएलबी
धर्म हिन्दू
जाति/समुदाय क्षत्रिय (राजपूत)
पता 7, कोट्स नगर, कालावाड़ रोड, राजकोट
शौक/अभिरुचि पुस्तकें पढ़ना
पुरस्कार/सम्मान • वर्ष 2006 में, उन्हें इंटरनेशनल पब्लिशिंग हाउस, नई दिल्ली द्वारा 'सर्वश्रेष्ठ नागरिक भारत पुरस्कार' से सम्मानित किया गया। इस पुरस्कार को जीतने वाले पहले गुजराती हैं।
• वर्ष 2007 में, उन्हें भारत इंटरनेशनल मैत्री सोसाइटी, नई दिल्ली द्वारा 'भारत गौरव पुरस्कार' से सम्मानित किया गया।
विवाद • मार्च 2015 में, कर्नाटक उच्च न्यायालय के एक न्यायाधीश के शपथ समारोह के दौरान जब भारत का राष्ट्र गान चल रहा था, तो वह बीच में ही चले गए, जिसकी काफी आलोचना हुई। हालांकि, बाद में वह वापस लौट आए थे और अपनी हरकत को गैर-इरादतन बताते हुए क्षमा भी माँगी।
वजुभाई वाला राष्ट्र गान विवाद
• वर्ष 2016 में, उन्होंने एक विवादास्पद वक्तव्य दिया जब उन्होंने कॉलेज की लड़कियों द्वारा शिक्षा संस्थानों में "फैंसी कपड़े और लिपस्टिक" का उपयोग करने पर पाबंदी लगा दी थी, क्योंकि उन्हें लगता था कि संस्थान "सौंदर्य प्रतियोगिता" के लिए नहीं हैं।
• मई 2018 में, जब कर्नाटक विधानसभा चुनाव के नतीजों के बाद कर्नाटक में त्रिशंकु विधानसभा की स्थिति सामने आई, तब सबसे बड़े दल भाजपा और कांग्रेस-जद (एस) गठबंधन सरकार बनाने का दावा पेश करने लगी, लेकिन राज्यपाल वाला ने पहली बार भाजपा को सरकार बनाने के लिए आमंत्रित किया, क्योंकि वे 104 सीटों के साथ सबसे बड़ी पार्टी बन कर उभरी थी, जिसके चलते विधानसभा में भाजपा को बहुमत साबित करने के लिए 15 दिन दिए। बीजेपी को प्रोत्साहित करने के लिए राज्यपाल वजुभाई वाला के निर्णय की कांग्रेस और जेडी (एस) ने कड़ी आलोचना की और इसे पक्षपातपूर्ण निर्णय बताया।
प्रेम संबन्ध एवं अन्य जानकारियां
वैवाहिक स्थिति विवाहित
परिवार
पत्नीमनोरमाबेन
बच्चे बेटा - 2
बेटी - 2
माता - पिता पिता - रूदाभाई वाला
माता - नाम ज्ञात नहीं
पसंदीदा चीजें
पसंदीदा राजनेताअटल बिहारी वाजपेयी, नरेंद्र मोदी
धन संबंधित विवरण
आय (राज्यपाल के रूप में)₹3.5 लाख प्रतिमाह + अन्य भत्ते (2018 के अनुसार)
संपत्ति (लगभग)₹60 लाख (2014 के अनुसार)

वजुभाई वाला

वजुभाई वाला से जुड़ी कुछ रोचक जानकारियाँ

  •  वजुभाई वाला का जन्म एक मध्यमवर्गीय गुजराती परिवार में हुआ था।
  •  अपनी किशोरावस्था के बाद, उन्होंने राजनीति में रूचि विकसित करते हुए, नेतृत्व के गुण प्राप्त किए।
  • अपनी उच्च स्कूली शिक्षा के दौरान, वह राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (आरएसएस) के सद्स्य बन गए और जिसे वह अपने स्कूल के साथियों के हितों की रक्षा के लिए इस्तेमाल करते थे।
  • उन्होंने अपने नेतृत्व के गुणों को कॉलेज में भी जारी रखा, जिसके चलते वह अपने कॉलेज के जिमखाना के सचिव बने।
  • उन्होंने समाज से वंचित लोगों के लिए कल्याणकारी कार्य किए।
  • उन्होंने भारत के सबसे बड़े सहकारी बैंकों में से एक के साथ अपने करियर की शुरुआत की, श्री राजकोट नागिक सहकारी बैंक में वर्ष 1975 से 1976, वर्ष 1981 से 1982 तक और वर्ष 1987 से 1990 तक अध्यक्ष के रूप में कार्य किया।
  • वर्ष 1975 में, उन्होंने इंदिरा गांधी के आपातकाल के खिलाफ विरोध प्रदर्शन में हिस्सा लिया, और 11 महीने तक जेल में रहे थे।
  • वर्ष 2007 में, वजुभाई वाला समिति की सिफारिश पर गुजरात सरकार ने (Octroi) चुंगी कर (विभिन्न लेखों पर एकत्रित स्थानीय कर) को हटा दिया था।

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