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Mariyappan Thangavelu Biography in Hindi | मरियप्पन थंगावेलु जीवन परिचय

Mariyappan Thangavelu

जीवन परिचय
व्यवसाय भारतीय पैरा एथलीट और कोच
जाने जाते हैंवर्ष 2016 में रियो डी जनेरियो में आयोजित ग्रीष्मकालीन पैरालंपिक खेलों और 2020 टोक्यो ग्रीष्मकालीन पैरालंपिक खेलों में भारत का प्रतिनिधित्व करने के लिए
शारीरिक संरचना
लम्बाई (लगभग)से० मी०- 168
मी०- 1.68
फीट इन्च- 5" 6”
आँखों का रंग काला
बालों का रंग काला
ट्रैक और फील्ड
कोच• के. एलमपरिथी
• सत्यनारायण
पुरस्कार/उपलब्धियां• वर्ष 2017 में उन्हें भारत सरकार द्वारा "पद्म श्री" पुरस्कार से सम्मानित किया गया।
• इसी वर्ष उन्हें भारत के राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद द्वारा "अर्जुन" पुरस्कार से भी नवाजा गया।
Mariyappan receiving the Arjuna Award from the President of India Ram Nath Kovind
• वर्ष 2020 में मरियप्पन को भारत सरकार द्वारा "राजीव गाँधी खेल रत्न" पुरस्कार से सम्मानित किया गया जो 6 अगस्त 2021 के बाद "मेजर ध्यानचंद खेल रत्न पुरस्कार" के नाम से जाना जाता है। [1]The Times of India
पदकस्वर्ण पदक
• वर्ष 2004 पैरालंपिक में
• वर्ष 2016 रियो पैरालंपिक में

रजत पदक
• वर्ष 2020 टोक्यो पैरालंपिक में

कांस्य पदक
• वर्ष 2018 एशियाई पैरा खेलों में
व्यक्तिगत जीवन
जन्मतिथि 28 जून 1995 (बुधवार)
आयु (वर्ष 2021 के अनुसार)26 वर्ष
जन्मस्थान पेरियावदगमपट्टी गांव, सेलम, तमिलनाडु, भारत
राशि मेष (Aries)
राष्ट्रीयता भारतीय
गृहनगर सेलम, तमिलनाडु
स्कूल/विद्यालय• सेंटपॉल हाईस्कूल, दार्जिलिंग
• मॉडर्न स्कूल, दिल्ली
कॉलेज/विश्वविद्यालयएवीएस कॉलेज ऑफ आर्ट्स एंड साइंस, रामलिंगपुरम, तमिलनाडु
शैक्षणिक योग्यता बिज़नेस एडमिनिस्ट्रेशन में स्नातक (2015) [2]International Paralympic Committee
आहारमांशाहारी [3]YouTube
प्रेम संबन्ध एवं अन्य मामले
वैवाहिक स्थिति अविवाहित
गर्लफ्रेंडज्ञात नहीं
परिवार
पत्नी लागू नहीं
माता-पिता पिता- नाम ज्ञात नहीं
माता- सरोजा (दिहाड़ी मजदूर)
भाईभाई- उनके चार भाई हैं जिनमें से दो का नाम कुमार और गोपी है।
Mariyappans mother Saroja and his brothers
बहनबहन- सुधा
पसंदीदा चीजें
भोजनचिकन सूप [4]YouTube
खेलवॉलीबॉल
अभिनेतारजनीकांत
धन सम्पत्ति संबंधित विवरण
कार संग्रहबीएमडब्ल्यू 3 सीरीज जीटी
Mariyappan with his BMW 3 Series GT car

Mariyappan Thangavelu

मरियप्पन थंगावेलु से जुड़ी कुछ रोचक जानकारियाँ

  • मरियप्पन थंगावेलु एक भारतीय पैरा एथलीट हाई जम्पर हैं जिन्होंने 2016 रियो डी जनेरियो ग्रीष्मकालीन पैरालंपिक खेलों और 2020 टोक्यो ग्रीष्मकालीन पैरालंपिक खेलों में भारत का प्रतिनिधित्व किया।
  • मरियप्पन थंगावेलु का जन्म तमिल नाडु के एक गरीब परिवार में हुआ था। सूत्रों के अनुसार, उनके पिता ने बहुत पहले अपने परिवार को त्याग दिया था और उनकी माँ सरोजा अपने सभी छह बच्चों का पालन-पोषण करने के लिए दिहाड़ी मजदूर का काम करने लगी थीं लेकिन कुछ समय बाद, स्वास्थ्य समस्याओं के कारण, उन्होंने सब्जियाँ बेचना शुरू कर दिया था।
  • मरियप्पन पांच साल की उम्र में एक एक दुर्घटना का शिकार हो गए थे जब वह अपने घर से पैदल स्कूल जा रहे थे तभी अचानक पीछे से एक नशे में धुत बस ड्राइवर ने उनके पैर पर बस का एक चक्का चढ़ा दिया था। जिसके चलते उनके घुटने के नीचे का पैर बस के वजन से दब गया और उनके दाहिने पैर ने काम करना बंद कर दिया। लेकिन इस मुश्किल घड़ी में भी उन्होंने अपनी पढ़ाई जारी रखी।
  • मरियप्पन शुरू में वॉलीबॉल खेलना पसंद करते थे लेकिन अपने एक स्कूल शिक्षक के कहने पर उन्होंने ऊंची कूद में जाने का फैसला किया।
  • मरियप्पन को एक राष्ट्रीय कार्यक्रम के दौरान भारतीय हाई जंप कोच सत्यनारायण ने देखा। जिसके बाद उन्हें खेल का प्रशिक्षण देने के लिए अपने साथ बंगलौर लेके चले गए। एक इंटरव्यू के दौरान मरियप्पन ने कहा-

    एक राष्ट्रीय सभा में मुझे देखने के बाद, वह मेरे परिवार से मिलने मेरे घर आए और घर वालों को विश्वास दिलाया कि वह मेरे रहने खाने की व्यवस्था कॉलेज में कर दिया है और मुझे लगभग दो साल तक बेंगलुरु में प्रशिक्षित किया। वह मेरे लिए एक दोस्त की तरह रहे और हर अभ्यास और हर दिन के माध्यम से मेरा समर्थन किया।”

  • वह वर्ष 2004 के बाद भारत के पहले पैरालंपियन स्वर्ण पदक विजेता हैं।
  • बैंगलोर में उनके कोच सत्यनारायण ने उन्हें SAI सुविधा के तहत ऊंची कूद में प्रशिक्षित किया। जिसके बाद उन्होंने उनके मार्गदर्शन में 2016 रियो पैरालंपिक में स्वर्ण पदक जीता। उन्होंने पुरुषों की ऊंची कूद टी-42 स्पर्धा में 1.89 मीटर की दूरी से 6 फीट 2 इंच के निशान को पार करते हुए पदक जीता।

  • स्वर्ण पदक जीतने के बाद तमिलनाडु सरकार ने उन्हें 2 करोड़ रुपए देने का ऐलान किया और साथ ही युवा और खेल मंत्रालय ने उन्हें 75 लाख रुपये के नकद पुरस्कार से सम्मानित किया। इसके आलावा उन्हें सचिन तेंदुलकर द्वारा बनाए गए फंड से 15 लाख रुपए देने की घोषणा की गई। साथ ही यशराज फिल्म्स ने 10 लाख रुपये का नकद पुरस्कार देने की घोषणा की। 2016 रियो पैरालंपिक में स्वर्ण पदक जीतने के बाद दिल्ली गोल्फ क्लब ने उन्हें 10 लाख रुपये का नकद पुरस्कार देने का वादा किया।
  • मरियप्पन ने इस पुरस्कार राशि की मदद से अपनी मां को एक धान विकसित खेत खरीदा ताकि उनके भाई और उनकी मां स्थिर आय अर्जित करने के लिए खेत में काम कर सकें, और साथ ही उन्होंने अपने परिवार के लिए एक बेहतर घर बनाया।

सन्दर्भ

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